आयुक्त भू-अभिलेख कार्यालय
आयुक्त - श्री अविनाश चम्पावत (भा.प्र.से.)
संचालक -  श्री विनीत नंदनवार (भा.प्र.से.)

 


ऑनलाईन नागरिक सुविधा -
 
डिजिटल सिग्नेचर खसरा एवं बी-1 की डिजिटल हस्ताक्षरयुक्त निःशुल्क प्रतिलिपि ऑनलाईन कहीं से भी- कभी भी प्राप्त करने की सुविधा
 
बंधक भूमि की जानकारी बैंक में बंधक कृषि भूमि की ऑनलाईन जानकारी उपलब्ध
 
भू-अभिलेखों में परिवर्तन की सूचना खसरा / बी-1 में दर्ज प्रविष्टि में संशोधन / परिवर्तन होने पर अभिलिखित भूमिस्वामी को उनके पंजीकृत मोबाइल नम्बर पर SMS के माध्यम से सूचना
 
पंजीयन पश्चात् नामान्तरण की कार्यवाही भूमि के पंजीयन पश्चात उप पंजीयक कार्यालय से ऑनलाइन प्राप्त सूचना के आधार पर नामांतरण की कार्यवाही प्रारम्भ
 
क्रयशुदा भूमि की जानकारी भूमि के पंजीकृत अंतरण पश्चात् नामांतरण प्रक्रियाधीन / अप्रारम्भ होने पर भी अंतरित भूमि की जानकारी ऑनलाइन उपलब्ध
 
मोबाईल एप्प भू-अभिलेखों तक आसान पहुंच हेतु एन्ड्रोइड एप्प गूगल प्ले स्टोर पर उपलब्ध
 
ई-कोर्ट में विचाराधीन प्रकरणों से संबंधित भूमियों की जानकारी ऑनलाइन उपलब्ध
 
 
डिजिटल इंडिया भू-अभिलेख आधुनिकीकरण कार्यक्रम
 
यह योजना वर्ष 2008-09 में केन्द्र प्रवर्तित योजना के रूप में प्रारम्भ की गई तथा तीन चरणों में राज्य के सभी 27 जिलों को योजना में सम्मिलित किया गया। 1 अप्रैल 2016 से यह योजना केन्द्रीय योजना के रूप में परिवर्तित की गई है। इस योजना के निम्न चार घटक हैं -
 
भू-अभिलेखों का कम्प्यूटरीकरण 19856 ग्रामों के खसरा एवं 19745 ग्रामों के नक्शों का कम्प्यूटरीकरण कार्य पूर्ण ।
 
असर्वेक्षित ग्रामों का सर्वेक्षण जिलों से प्राप्त जानकारी के आधार पर राज्य में 1089 ग्रामों का चिन्हाकन सर्वेक्षण कार्य हेतु किया गया है जिनमें से 1015 ग्रामों का क्षेत्र नक्शा तैयार कर सत्यापन हेतु जिला कलेक्टर को उपलब्ध कराया गया है। 1015 ग्रामों में प्रथम चरण, 637 ग्रामों में द्वितीय चरण एवं 204 ग्रामों में तृतीय चरण का सत्यापन कार्य पूर्ण कर लिया गया है।
 
तहसील कार्यालयों में माडर्न रिकार्ड रूम योजना के प्रावधानानुसार रूपये 25 लाख प्रति तहसील की दर से तहसील स्तर पर माडर्न रिकार्ड रूम की स्थापना हेतु सभी जिला कलेक्टरों को राशि आवंटित की गई है कार्य प्रगतिरत है ।
 
पंजीयन कार्यालय का कम्प्यूटरीकरण तथा तहसील कार्यालय से इन्टरकनेक्ट करना - राज्य में कुल 98 उप पंजीयक कार्यालय हैं जिनमें से सभी 98 उप पंजीयक कार्यालयों को ऑनलाईन किया जा चुका है तथा सभी उप पंजीयक कार्यालयों का तहसील कार्यालय के साथ इन्टरनेट के माध्यम से इन्टरकनेक्टीविटी का कार्य पूर्ण कर लिया गया है।
 
ई-धरती:-
 
नगरीय क्षेत्रो